16 दिन तक व्हाट्सएप वीडियो कॉल से किया डिजिटल अरेस्ट, हरियाणा से गिरफ्तार हुआ साइबर ठग

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अर्द्धसैनिक बल से सेवानिवृत्त हुए बेतालघाट नैनीताल निवासी व्यक्ति के खाते में मनी लांड्रिंग के 68 करोड़ का लेनदेन हाेने का झांसा देकर डिजिटल अरेस्ट कर 60 लाख रुपये ठगी करने वाले साइबर ठग को साइबर थाना पुलिस ने हरियाणा से गिरफ्तार कर लिया है।

साथ ही उसे कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया है।

एसएसपी एसटीएफ नवनीत सिंह भुल्लर ने बताया कि नैनीताल बेतालघाट निवासी और पैरामीलिट्री से सेवानिवृत्त खीम सिंह ने जुलाई 2025 में प्राथमिकी पंजीकृत करते हुए बताया था कि अज्ञात व्यक्तियों ने महाराष्ट्र साइबर क्राइम विभाग/सीबीआई के नाम पर उसे कॉल किया और बताया कि उनके खाते में मनी लांड्रिंग के 68 करोड रूपये का लेनदेन हुआ है। इसके बाद उन्होंने उनके सभी बैंक खातों / जमीन जायजाद का सत्यापन करने के लिए व्हाट्सएप वीडियो कॉल पर ही “डिजिटली अरेस्ट” करते हुए 16 दिनों में विभिन्न खातों से 60 लाख रूपये की धनराशि ऑनलाईन जमा कराई।

मामले में साइबर थाना पुलिस ने प्राथमिकी पंजीकृत कर जांच शुरू कर दी थी। साथ ही विवेचना साइबर थाना प्रभारी रुद्रपुर अरूण कुमार के सुपुर्द कर दी गई थी। जांच के दौरान साइबर थाना पुलिस ने घटना में प्रयुक्त बैंक खाते/ रजिस्टर्ड मोबाइल नम्बरों / व्हाट्सएप की जानकारी के लिए संबंधित बैंकों, सर्विस प्रदाता कम्पनियों, मेटा कम्पनी से पत्राचार कर डेटा प्राप्त किया। प्राप्त डेटा के विश्लेषण से टीम ने प्रकाश में आए बैंक खातों तथा मोबाइल नम्बरों का सत्यापन किया।

तकनीकी / डिजिटल साक्ष्य एकत्र कर प्रकाश में आए ग्राम गोहा रजियावास जेवाजा अजमेर राजस्थान निवासी कमल सिंह पुत्र महेन्द्र सिंह को चिन्हित किया। एसएसपी एसटीएफ नवनीत सिंह भुल्लर ने बताया कि इसके लिए साइबर थाना पुलिस उसकी जगह जगह तलाश कर रही थी। इस बीच उसकी लोकेशन हरियाणा मिली। जिसके बाद साइबर थाना प्रभारी अरूण कुमार, एएसआइ सत्येन्द्र गंगोला, हेड कांस्टेबल सोनू पाण्डे, मनोज कुमार और कांस्टेबल रवि बोरा हरियाणा पहुंचे। जहां गुरुवार देर रात पुलिस ने कमल सिंह को थाना न्यू कालोनी, गुुरुग्राम हरियाणा से गिरफ्तार कर लिया। साथ ही उसके पास से एक मोबाइल, दो सिम कार्ड बरामद किए। बाद में आरोपित को कोर्ट में पेश कर जेल भेज दिया है।

यह है अपराध का तरीका

साइबर थाना प्रभारी अरूण कुमार ने बताया कि साइबर ठग ने अर्द्धसैनिक बल से सेवानिवृत्त खीम सिंह को महाराष्ट्र राज्य के साइबर क्राईम विभाग का अधिकारी बनकर उनके केनरा बैंक के खाते में मनी लांड्रिंग के 68 करोड की धनराशि प्राप्त होने की बात कही थी। इसके लिए उन्होंने खीम सिंह को व्हाट्सएप कॉल के माध्यम से लगातार संपर्क में रहने तथा किसी भी व्यक्ति के संपर्क में न रहने की हिदायत दी। व्हाट्सएप कॉल पर ही बैंक खातों / जमीन का सत्यापन करने को कहा जाता था।

इसके लिए साइबर अपराधी उन्हें डरा धमकाकर डिजिटल अरेस्ट होने की बात कहकर लगातार सम्पर्क में बने रहने को कहते थे। टेलीकॉम व सीबीआई अधिकारी बनकर आधार कार्ड व बैंक खाते के अपराध में शामिल होने पर गिरफ्तारी का डर दिखाकर 60 लाख की रुपये ठग लिए। पूछताछ में आरोपित ने बताया कि जिस बैंक खाते का प्रयोग किया गया था, उसमें जुलाई माह में सात दिनों में ही लाखों रुपयों का लेनदेन हुआ है। अलग अलग राज्यों में आरोपित के विरुद्ध तीन शिकायत पंजीकृत हुई है। जिस संबंध में संबंधित राज्यों की पुलिस से संपर्क किया जा रहा है।

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